امام رضا علیه السلام :
مَن حاسَبَ نَفسَهُ رَبِحَ و مَن غَفَلَ عَنها خَسِرَ
بحار الأنوار : ج۷۸ ص۳۵۲ ح۹
इमाम रज़ा अ.स.
"जो अपने नफ़्स का हिसाब करता है आत्मनिरीक्षण करता है, वह फ़ायदा उठाता है; और जो इससे ग़ाफ़िल रहता है, वह घाटे में रहता है।"
आत्मनिरीक्षण करता है, वह फ़ायदा उठाता है; और जो इससे ग़ाफ़िल रहता है, वह घाटे में रहता है।"
इमाम रज़ा अ.स.
"जो अपने नफ़्स का हिसाब करता है आत्मनिरीक्षण करता है, वह फ़ायदा उठाता है; और जो इससे ग़ाफ़िल रहता है, वह घाटे में रहता है।"
आपकी टिप्पणी