:امام علی علیه السلام
.وَاللّهِ، ما نَزَعَ اللّهُ مِن قَومٍ نَعماءَ إلاّ بِذُنوبٍ اِجتَرَحوها ، فَاربِطوها بِالشُّكرِ ، وقَيِّدوها بِالطّاعَةِ
إرشاد القلوب : ۱۵۰
अमीरुल मोमेनीन हज़रत अली अ.स.
अल्लाह की कसम! अल्लाह किसी भी समूह से अपनी नेमतें वापस नहीं लेता, मगर उनके गुनाहों की वजह से । इसलिए नेमतों का शुक्र अदा करके उनसे फायदा उठाओ और अल्लाह की इबादत और हुक्म मानकर उन्हें संभालकर रखो।
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