:امام علی علیه السلام
.ظَفِرَ بِالشيطانِ مَن غَلَبَ غَضَبَهُ، ظَفِرَ الشيطانُ بِمَن مَلَكَهُ غَضَبُهُ
غرر الحكم : ٦٠٤٨ ـ ٦٠٤٩
अमीरुल मोमेनीन हज़रत इमाम अली अ.स.
जो कोई अपने ग़ुस्से पर काबू पा लेता है, वह शैतान पर जीत हासिल करता है, और जो कोई अपनी बागडोर अपने ग़ुस्से के हवाले कर देता है, शैतान उस पर जीत हासिल कर लेता है।
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