अंतर्राष्ट्रीय कुद्स दिवस के अवसर पर, ऑल इंडिया शिया काउंसिल द्वारा दिल्ली के ऐवाने ग़ालिब में कुद्स की आज़ादी, मज़लूम फिलिस्तीनियों के समर्थन, तथा गज़्ज़ा मे ज़ायोनी सरकार के अत्याचार और आक्रमण के खिलाफ "कुद्स सम्मेलन" का आयोजन किया गया। इसमें देश भर के बुद्धिजीवी वर्ग, विद्वानों और धार्मिक नेताओं ने अपने भाषणों के माध्यम से फिलिस्तीन में जारी क्रूर अत्याचारों और नरसंहार के खिलाफ आवाज उठाई।
इस अवसर पर भारत में ईरान की इस्लामी क्रान्ति के नेता के प्रतिनिधि हुज्जतुल इस्लाम वल मुसलेमीन आगा महदी महदवीपुर ने कहा कि आखिर कब तक दुनिया इस्राईल के आक्रमण और गज़्ज़ा में हो रहे अत्याचारों और बिखरती लाशों को देखकर मूक दर्शक बनी रहेगी? यह हम सभी का कर्तव्य है कि हम आवाज उठाएं और फिलिस्तीन की मुक्ति के लिए हर संभव प्रयास करें।
इस्लामी गणतंत्र ईरान के राजदूत डॉ. ईरज इलाही ने कहा कि आज फिलिस्तीनी राष्ट्र सबसे बुरे अत्याचारों का शिकार है। अभी कुछ दिन पहले ही एक दिन में चार सौ लोग मारे गए, लेकिन दुनिया में कोई भी आवाज नहीं उठा रहा है।
इराकी दूतावास के प्रथम सचिव अहमद हाशिम अतीफा ने कहा कि इस्राईल गज़्ज़ा में सबसे भयानक नरसंहार कर रहा है, जहां बच्चों और महिलाओं को भी मारा जा रहा है।
भारतीय मुस्लिम राजनीतिक परिषद के अध्यक्ष श्री डॉ. तस्लीम अहमद रहमानी ने कहा कि अरबों को अपने सम्मान ओर ग़ैरत पर बहुत गर्व है, लेकिन फिलिस्तीन के प्रति अरबों बेग़ैरती अत्यंत खेदजनक है।
ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के प्रवक्ता श्री कासिम रसूल इलियास ने इमाम खुमैनी को याद करते हुए कहा कि इमाम खुमैनी ने फिलिस्तीनी मुद्दे को हमेशा के लिए पुनर्जीवित कर दिया।
सांसद श्री रूहुल्लाह महदी ने कहा कि जहां कहीं भी अल्लाह की मखलूक पर, लोगों पर अत्याचार हो रहा है और उनकी जमीनें हड़पी जा रही हैं, वहां अत्याचार के खिलाफ आवाज उठाना जरूरी है।
कश्मीरी गेट के इमामे जुमा मौलाना मोहसिन तकवी ने कहा कि मीडिया के झूठे प्रचार के बावजूद आज दुनिया अच्छी तरह जानती है कि अत्याचारी कौन है और मज़लूम कौन है।
सांसद मौलाना मुहिब्बुल्लाह नदवी ने कहा कि पिछले डेढ़ साल में ग़ज़्ज़ा में महायुद्ध से भी अधिक निर्दोष लोग शहीद हुए हैं।
पूर्व संसद सदस्य मुहम्मद अदीब ने कहा कि फिलिस्तीन की भूमि हमेशा से फिलिस्तीनियों की रही है और रहेगी।
पीस मिशन के अध्यक्ष सरदार दया सिंह ने कहा कि हम इंसान हैं और फिलिस्तीन का मुद्दा मानवता का मुद्दा है। हम यहां उत्पीड़ितों और मज़लूमों के साथ एकजुटता व्यक्त करने के लिए एकत्र हुए हैं।
कॉन्फ्रेंस का आरंभ मौलाना अली कौसर कैफी ने पवित्र कुरान की तिलावत के साथ किया। ऑल इंडिया शिया कौंसिल के अध्यक्ष मौलाना जिनान असगर मोलाई ने सम्मेलन का संचालन किया, जबकि महासचिव मौलाना मिर्जा इमरान अली ने शिरकत करने वालों का स्वागत किया ।
ऑल इंडिया शिया कौंसिल के प्रवक्ता और संयोजक मौलाना जलाल हैदर नकवी ने अतिथियों का धन्यवाद किया। सम्मेलन में बड़ी संख्या में तौहीद के अनुयायी और विद्वान शामिल हुए। सम्मेलन का समापन मौलाना शेख मुहम्मद असकरी के दुआईया कलमात के साथ हुआ।
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