AhlolBayt News Agency (ABNA)

source : ابنا
शुक्रवार

14 जुलाई 2023

10:46:46 am
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सऊदी अरब के मुफ़्ती अक्षरधाम पहुंचे, कट्टरवाद और आतंकवाद की आलोचना

अल ईसा ने आतंकवाद के खिलाफ बोलते हुए कहा, कि "ये आतंकवादी संगठन अपने अलावा किसी का प्रतिनिधित्व नहीं करते हैं। उनका कोई धर्म या देश नहीं है।" उन्होंने कहा, कि सऊदी अरब की राजशाही के पास ऐसे विचारों का मुकाबला करने के लिए एक मजबूत मंच है।


भारत की पांच दिवसीय यात्रा पर आए मुस्लिम वर्ल्ड लीग के प्रमुख सऊदी मुफ़्ती मोहम्मद बिन अब्दुलकरीम अल-ईसा ने शुक्रवार को दिल्ली के अक्षरधाम मंदिर का दौरा करते हुए कट्टरवादी विचारधारा और आतंकवादी संगठनों की कड़ी आलोचना करते हुए "दुनिया भर में बढ़ते संघर्ष और युद्ध" के बारे में चिंता व्यक्त की है।

समाचार एजेंसी एएनआई से बात करते हुए उन्होंने इस बात पर जोर दिया, कि आतंकवादी संगठन "धर्मों की छवि को विकृत करने" का काम करते हैं। उन्होंने कहा, कि "इस्लाम और आतंकवाद का एक-दूसरे से कोई लेना-देना नहीं है।"

मुस्लिम वर्ल्ड लीग के प्रमुख मोहम्मद बिन अब्दुलकरीम अल-ईसा ने आज दिल्ली में अक्षरधाम मंदिर का दौरा किया है। अल ईसा ने आतंकवाद के खिलाफ बोलते हुए कहा, कि "ये आतंकवादी संगठन अपने अलावा किसी का प्रतिनिधित्व नहीं करते हैं। उनका कोई धर्म या देश नहीं है।" उन्होंने कहा, कि सऊदी अरब की राजशाही के पास ऐसे विचारों का मुकाबला करने के लिए एक मजबूत मंच है।

इससे पहले बुधवार को "धर्मों के बीच सद्भाव के लिए संवाद" में अपने संबोधन में, अल-इस्सा ने आतंकवाद फैलाने वाले संगठनों की आलोचना करते हुए कहा, कि गलत धारणाएं, नफरत के सिद्धांत और कट्टरपंथ आतंकवाद की ओर बढ़ने में योगदान करती हैं।

बता दें, कि 2016 में मुस्लिम वर्ल्ड लीग के महासचिव के रूप में काम शुरू करने से पहले, अल-ईसा ने सऊदी कैबिनेट में न्याय मंत्री का पद संभाला था। उन्हें एक इस्लामी विद्वान, उदारवादी इस्लाम के समर्थक और अंतरधार्मिक संवाद और वैश्विक शांति के समर्थक के रूप में प्रमोट किया जाता रहा है।

दिल्ली में स्वामीनारायण अक्षरधाम का दौरा करने के बाद अल ईसा ने भारत की प्रशंसा करते हुए कहा, कि भारत विविधता में एकता का एक बड़ा उदाहरण है। उन्होंने कहा, कि "भारत अनेकता में एकता का एक महान उदाहरण है और अक्षरधाम की मेरी यात्रा, प्रेम, शांति और सद्भाव को बढ़ावा देने के लिए है।

अक्षरधाम में अपने तीन घंटे के दौरान, इस सऊदी मुफ़्ती ने दुनिया में इस मंदिर के महत्वपूर्ण योगदान को स्वीकार करते हुए अक्षरधाम की कला, वास्तुकला, संस्कृति और मूल्यों की सराहना की। उन्होंने कहा, कि हम विशेष रूप से वैश्विक शांति, सद्भाव और सह-अस्तित्व से संबंधित मामलों पर चर्चा करने के लिए स्वामी के साथ जुड़ना चाहते थे।