एक घंटे की देरी के बाद हाई कोर्ट के कमरा नंबर 2 में जस्टिस मियां गुल हसन औरंगज़ेब और जस्टिस समन रफ़अत पर आधारित बेंच ने सुनवाई शुरू कर दी थी।
इस बीच अदातल के भीतर एक वकील ने इमरान ख़ान के हक़ में नारे लगाए जिस पर जस्टिस मियां गुल हसन ने नाराज़गी ज़ाहिर की और सुनवाई को थोड़ी देर के लिए रोका गया हालांकि इमरान ख़ान के वकील ने कहा कि नारा लगाने वाले का हमसे कोई लेना देना नहीं है।
इमरान ख़ान के वकील ने अदालत से शिकायत की कि नैब इस समय पक्षपाती संस्था बनकर रह गई है।
सुनवाई पूरी होने के बाद अदालत ने इमरान ख़ान को दो हफ़्ते की अंतरिम ज़मानत दे दी और इमरान ख़ान के वकील को निर्देश दिया कि अगली सुनवाई की तैयारी करें, उस समय यह फ़ैसला किया जाएगा कि इमरान ख़ान की ज़मानत की अवधि बढ़ाई जाए या उसे कैंसल कर दिया जाए।
पत्रकारों से अनौपचारिक बातचीत में इमरान ख़ान ने कहा कि उन्हें आशंका है कि उन्हें फिर गिरफ़तार किया जा सकता है।
इमरान ख़ान ने अपनी गिरफ़तारी के बाद पूरे देश में होने वाले ज़ोरदार हंगामों के बारे में कहा कि इन हंगामों के लिए मैं ज़िम्मेदार नहीं हूं यह मुल्क मेरा है और अवाम मेरे हैं। पूर्व प्रधानमंत्री ने कहा कि मुझे कल अदालत में बताया गया कि हंगामों में 40 जानें जा चुकी हैं।
इमरान ख़ान के वकीलों की टीम बड़ी संख्या में सुरक्षा कर्मियों के घेरे में अदालत में पहुंची जबकि इमरान से एकजुटता दर्शाने के लिए भारी संख्या में बाहर निकलने वाले समर्थकों से पुलिस की झड़पें भी हुईं।
कल सुप्रीम कोर्ट ने इमरान ख़ान की गिरफ़तारी को ग़ैर क़ानूनी ठहराते हुए उनकी रिहाई का आदेश दिया था और उन्हें आज इस्लामाबाद हाई कोर्ट के सामने पेश होने के निर्देश दिए थे।
342/