AhlolBayt News Agency (ABNA)

source : ابنا
गुरुवार

21 सितंबर 2023

7:43:11 am
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तुर्की और इस्राईल साथ-साथ, अर्दोगान - नेतन्याहू मुलाकात, फिलिस्तीनी संगठनों ने कहा निराशाजनक

यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि एक इस्लामी देश के प्रमुख ने निरंकुश ज़ायोनी शासन के प्रधान मंत्री, बेंजामिन नेतन्याहू का स्वागत किया, वह भी तब, जब ज़ायोनी सेनाओं ने ग़ज़्ज़ा , जेनिन और कई अन्य शहरों में उत्पीड़ित फिलिस्तीनियों के खिलाफ क़त्ले आम और अल-अक्सा मस्जिद पर लगातार हमले जारी रखे हैं।

तुर्की के राष्ट्रपतिरजब तय्यब अर्दोग़ान ने एक बार फिर अपने इस्राईल प्रेम को ज़ाहिर करते हुए न्यूयॉर्क में "तुर्की हाउस" में ज़ायोनी प्रधान मंत्री बेंजामिन नेतन्याहू से मुलाक़ात की।

इस बैठक के संबंध में तुर्की प्रेसीडेंसी की प्रेस एजेंसी ने कहा: इस बैठक में दोनों देशों के राजनीतिक और आर्थिक संबंधों, नवीनतम अंतरराष्ट्रीय और क्षेत्रीय विकास और इस्राईल और फिलिस्तीन के बीच तनाव पर चर्चा की गई।

तुर्की के राष्ट्रपति ने इस्राईल के साथ अपने मजबूत संबंधों की वकालत करते हुए कहा कि तुर्की ऊर्जा, प्रौद्योगिकी, कृत्रिम बुद्धिमत्ता और साइबर सुरक्षा के क्षेत्र में इस्राईल के साथ सहयोग कर सकता है।

इस बैठक में इस्राईली प्रधानमंत्री नेतन्याहू ने सहयोग के विकास, खासकर ऊर्जा के क्षेत्र में आपसी समन्वय बढ़ाने की जरूरत पर भी जोर दिया।

इस बैठक में तुर्की के विदेश मंत्री, ऊर्जा और प्राकृतिक संसाधन मंत्री, सत्तारूढ़ न्याय और विकास पार्टी के प्रवक्ता, खुफिया एजेंसी के प्रमुख, राष्ट्रपति कार्यालय के संचार निदेशक और तुर्की के राष्ट्रपति के वरिष्ठ सलाहकार भी उपस्थित थे।

इस मुलाकात के बाद अर्दोग़ान ने सोशल नेटवर्क साइट एक्स पर लिखा कि उन्होंने इस्राईली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू से मुलाकात की। मुझे उम्मीद है कि यह बैठक दोनों देशों और क्षेत्र के लिए उपयोगी होगी।

वहीँ फिलिस्तीन ने इस घटना पर निराशा व्यक्त करते हुए अर्दोग़ान का नाम लिए बिना खेद जताया और कहा कि एक इस्लामिक देश के राष्ट्रपति की ज़ायोनी सरकार के प्रधानमंत्री से मुलाकात दुखद है।

फ़िलिस्तीनी प्रतिरोध संगठन हमास के प्रवक्ता "हाज़ेम क़ासिम" ने कहा, "यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि एक इस्लामी देश के प्रमुख ने निरंकुश ज़ायोनी शासन के प्रधान मंत्री, बेंजामिन नेतन्याहू का स्वागत किया, वह भी तब, जब ज़ायोनी सेनाओं ने ग़ज़्ज़ा , जेनिन और कई अन्य शहरों में उत्पीड़ित फिलिस्तीनियों के खिलाफ क़त्ले आम और अल-अक्सा मस्जिद पर लगातार हमले जारी रखे हैं।

ज़ायोनी अधिकारियों के साथ मिलना और संबंधों को सामान्य बनाना वास्तव में उन्हें फ़िलिस्तीनी लोगों का नरसंहार करने और हमारे पवित्र स्थलों को निशाना बनाने के लिए प्रोत्साहित करना है।