इस्राईली विश्लेषकों का कहना है कि हिज़्बुल्लाह ने जवाबी कार्यवाही नहीं करने के इस्राईल के सभी प्रयासों को नकार दिया है, यहां तक कि हिज़्बुल्लाह को धोखा देने के लिए इस्राईली सेना द्वारा सीमा पर सैनिकों के पुतले खड़े करने की बचकाना हरकत का नसरुल्लाह ने मज़ाक़ उड़ाया है।
दमिश्क़ में इस्राईल के हवाई हमले में हिज़्बुल्लाह के एक लड़ाके कामिल मोहसिन की शहादत के बाद से हिज़्बुल्लाह की जवाबी कार्यवाही से इस्राईली सेना इतना भयभीत है कि उसने कई बार सीमा पर फ़ेक झड़पों का प्रयास किया, ताकि हिज़्बुल्लाह को आश्वस्त कर सके कि उसने अपना बदला ले लिया है।
रविवार को आशूर के अवसर पर टीवी से प्रसारित होने वाले अपने भाषण में हिज़्बुल्लाह प्रमुख ने चेतावनी देते हुए कहा था कि हिज़्बुल्लाह के हर एक लड़ाके के बदले एक इस्राईली सैनिक को मरना होगा।
नसरुल्लाह का कहना थाः इस्राईलियों को यह समझ लेना चाहिए कि जब भी वे हमारे किसी मुजाहिद की हत्या करेंगे, हम उनके एक सैनिक को मौत के घाट उतारेंगे।
उनका कहना था कि अगर हिज़्बुल्लाह के लड़ाकों ने 100 अभियान किए, लेकिन उनमें कोई इस्राईली सैनिक नहीं मारा गया, तो हमले तब तक जारी रहेंगे, जब तक कि समीकरण बराबर नहीं हो जायेंगे।
20 जुलाई को दमिश्क़ में इस्राईल के हवाई हमले के बाद से लेबनान से लगने वाली इस्राईल की सीमा पर तनाव है और इस्राईल ने हिज़्बुल्लाह की कार्यवाही के डर से भारी संख्या में सैनिक और हथियार तैनात कर रखे हैं।
इस्राईल की जासूसी एजेंसियों को यह लगने लगा था कि बेरूत बंदरगाह धमाके के बाद, हिज़्बुल्लाह ने जवाबी कार्यवाही का अपना इरादा बदल दिया है, लेकिन हिज़्बुल्लाह प्रमुख ने यह स्पष्ट कर दिया है कि अपने लड़ाके के ख़ून का बदला लेने के लिए वह प्रतिबद्ध हैं।