महमूद अब्बास अबू माज़िन ने रामल्लाह में ब्रिटेन के विदेश मंत्री डोमिनिक राब से मुलाक़ात में कहा कि अगर ज़ायोनी शासन फ़िलिस्तीनी क्षेत्रों पर अवैध क़ब़्ज़े का क्रम बंद नहीं करता और फ़िलिस्तीनी जनता को आज़ादी और उनकी मातृभूमि की स्वाधीनता नहीं मिलती है तो क्षेत्र में शांति व सुरक्षा स्थापित नहीं होगी। फ़िलिस्तीनी प्रशासन के प्रमुख ने कहा कि अब इस बात का समय आ गया है कि अन्य देश भी फ़िलिस्तीन को औपचारिक रूप से मान्यता दें क्योंकि इससे शांति व न्याय की स्थापना में मदद मिलेगी।
याद रहे कि संयुक्त अरब इमारात और ज़ायोनी शासन के बीच संबंध स्थापना के लिए अमरीका के राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रम्प की निरंतर कोशिशों के बाद अबूधाबी व तेल अवीव ने 13 अगस्त को आपस में संपूर्ण कूटनैतिक संबंध स्थापित करने का समझौता किया। इस समझौते के बाद फ़िलिस्तीनी गुटों, क्षेत्र देशों और संसार की अहम राजनैतिक हस्तियों की तरफ़ से इसकी कड़ी आलोचना की गई और इमारात के इस क़दम को ग़द्दारी और विश्वासघात बताया गया है।